UP Board Solutions for Class 4 Hindi Kalrav Chapter 4 जब मैं पढ़ता था the students can refer to these answers to prepare for the examinations. These solutions provided in the Free PDF download of UP Board Solutions for Class 4 Hindi Kalrav are beneficial in enhancing conceptual knowledge.
UP Board Solutions for Class 4 Hindi Kalrav Chapter 4 जब मैं पढ़ता था
जब मैं पढ़ता था शब्दार्थ
सत्यप्रिय = सच्चाई चाहने वाला
अप्रसन्न = नाराज
सत्यवादी = सच बोलने वाला
गर्व = अभिमान
छात्रवृत्ति = वजीफा
अनिवार्य = जो टाला न जा सके
असह्य = सहन न करने योग्य
असावधान – लापरवाह
अरुचि = रुचि या रुझान न होना
विघ्न = बाधा।
जब मैं पढ़ता था पाठ का सारांश
गांधी जी के पिता करमचंद गांधी राजकोट के दीवान थे। वे सत्यप्रिय और उदार व्यक्ति थे। गांधी जी की माता धार्मिक विचारों वाली महिला थीं। गांधी जी का जन्म २ अक्टूबर, १८६९ को पोरबंदर में हुआ था। बचपन से ही संकोची स्वभाव वाले गांधी जी ने कभी झूठ नहीं कहा। वे सुबह सैर करते। वे व्यायाम को जरूरी मानते थे। एक बार सत्य बोलने पर उनपर जुर्माना हो गया, तब उन्होंने समझा कि सत्य बोलने वाले को असावधान भी नहीं रहना चाहिए।
जब मैं पढ़ता था अभ्यास प्रश्न
शब्दों का खेल
प्रश्न १.
‘धर्म’ शब्द में ‘इक’ लगाने पर ‘धार्मिक’ बनता है। इसी प्रकार, नीचे दिए गए शब्दों में ‘इक’ लगाकर नए शब्द बनाओ (नए शब्द बनाकर)
उत्तर:
मास – मासिक
पक्ष – पाक्षिक
वर्ष – वार्षिक
सप्ताह – साप्ताहिक
प्रश्न २.
नीचे लिखे शब्दों के विलोम शब्द लिखो (विलोम शब्द लिखकर)
उत्तर:
शब्द – विलोम
सावधान – असावधान
रुचि – अरुचि
पूर्ण – अपूर्ण
न्याय – अन्याय
प्रसन्न – अप्रसन्न
सभ्य – असभ्य
प्रश्न ३.
विद्यार्थी स्वयं पढ़ें।
प्रश्न ४.
नीचे लिखे शब्दों को शुद्ध रूप में लिखो (लिखकर )
उत्तर:
अनुसाशन – अनुशासन
शुलेख – सुलेख
अपुर्ण – अपूर्ण
शाहसी – साहसी
धार्मीक – धार्मिक
लभकारी – लाभकारी
प्रश्न ५.
नीचे लिखे वाक्यों में उचित विराम चिहनों का प्रयोग करो (विराम चिहनों का प्रयोग करके)
उत्तर:
मैंने पुस्तकों में पढ़ा था कि खुली हवा में घूमना स्वास्थ्य के लिए लाभकारी होता है। यह बात मुझे अच्छी लगी और तभी से मैंने सैर करने की आदत डाल ली।
बोध प्रश्न
प्रश्न १.
नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर दो।
(क) गांधी जी की माता का स्वभाव कैसा था?
उत्तर:
गांधी जी की माता का स्वभाव बहुत अच्छा था। वे धार्मिक विचारों की महिला थीं।
(ख) “सत्य हरिश्चंद्र नाटक देखकर गांधी जी ने क्या निश्चय किया?
उत्तर:
‘सत्य हरिश्चंद्र’ नाटक देखकर गांधी जी ने हरिश्चंद्र की तरह सत्यवादी बनने का निश्चय किया।
(ग) सैर करने की आदत से गांधी जी को क्या लाभ हुआ?
उत्तर:
सैर करने की आदत से गांधी जी का शरीर मजबूत हो गया।
(घ) गांधी जी किस बात की तरफ विशेष ध्यान देते थे?
उत्तर:
गांधी जी अच्छे आचरण की तरफ विशेष ध्यान देते थे।
(ङ) इस पाठ से गांधी जी के व्यक्तित्व के किन-किन गुणों का पता चलता है?
उत्तर:
इस पाठ से गांधी जी के व्यक्तित्व के सत्यप्रिय, अहिंसावादी, कर्तव्यनिष्ठ, दृढ़प्रतिज्ञ, देशभक्त होने जैसे गुणों का पता चलता है।
प्रश्न २.
क्या होता था जब (मौखिक उत्तर दें)
(क) गांधी जी से कभी कोई भूल हो जाती थी।
उत्तर:
गांधी जी से कभी कोई भूल हो जाती थी, तो उनकी आँखों में आँसू आ जाते थे।
(ख) गांधी जी जब किसी की सुन्दर लिखावट देखते थे।
उत्तर:
किसी की सुन्दर लिखावट देखकर गांधी जी को पछतावा होता था।
(ग) गांधी जी को स्कूल में कोई दंड मिलता था।
उत्तर:
उन्हें इस बात का दुःख होता था कि वे दण्ड के पात्र समझे गए।
प्रश्न ३.
इन बातों के सम्बन्ध में तुम्हारे क्या विचार हैं
(क) सुन्दर लिखावट
उत्तर:
सुन्दर लिखावट का गुण अच्छे विद्यार्थी के लिए सोने पर सुहागा के समान है।
(ख) प्रातःकाल भ्रमण
उत्तर:
प्रात:काल का भ्रमण स्वास्थ्य के लिए अच्छा होता है।
(ग) खेलने और व्यायाम
उत्तर:
खेल और व्यायाम दोनों ही शिक्षा एवं स्वास्थ्य के लिए आवश्यक हैं।
(घ) कोई भूल हो जाना
उत्तर:
कोई भूल होने पर हमें विनम्रता से क्षमा माँगनी चाहिए।
(ङ) सत्य बोलना
उत्तर:
सत्य बोलना हृदय की पवित्रता का प्रतीक होता है।
प्रश्न ४.
प्रातःकाल व्यायाम करना चाहिए। इस वाक्य में ‘प्रातःकाल’ और ‘व्यायाम’ शब्दों का एक साथ प्रयोग हुआ है। ऐसे दो वाक्य और बनाओ, जिनमें इन दोनों शब्दों का एक साथ प्रयोग हो।
उत्तर:
१. प्रात:काल व्यायाम करना स्वास्थ्य के लिए लाभदायक है।
२. प्रात:काल सूर्योदय से पूर्व उठकर व्यायाम करना चाहिए।
तुम्हारी कलम से
अपनी पसंद के व्यक्ति के बारे में कुछ वाक्य लिखो। तुम्हें वह क्यों पसन्द हैं? तुम बड़े होकर किसके जैसा बनना चाहोगे?
नोट – विद्यार्थी स्वयं लिखें।
अब करने की बारी
(क) अपने बड़ों से सत्य हरिश्चंद्र की कथा सुनकर कक्षा में सुनाओ।
(ख) गांधी जी के जीवन से सम्बन्धित तस्वीरें इकट्ठा करो और उनका एलबम बनाओ।
(ग) गांधी जी की प्रिय रामधुन ‘रघुपति राघव राजा राम’ याद करो और विद्यालय की बालसभा, गांधी जयंती पर सुनाओ।
(घ) पत्र-पत्रिकाओं से गांधी जी के जीवन से जुड़े प्रसंग चुनकर संग्रह करो।
नोट – विद्यार्थी स्वयं करें।
इसे भी करो
खाली स्थानों में परिवार के सदस्यों के नाम लिखकर अपने परिवार का वंश-वृक्ष बनाओ
नोट – विद्यार्थी स्वयं बनाएँ।